Winter Cold Back Pain:सर्दियों के ठंडे मौसम में न केवल स्वास्थ्य समस्याएं बढ़ जाती हैं, बल्कि यह कमर दर्द की समस्या को भी बढ़ा सकता है। ठंड के मौसम में तापमान गिरने, फिजिकल एक्टिविटी में कमी और मांसपेशियों में जकड़न जैसे कारणों से कमर दर्द होना आम बात है। यह समस्या आमतौर पर बड़ों और बुजुर्गों को अधिक परेशान करती है। ऐसे में यह जानना जरूरी है कि सर्दियों में कमर दर्द क्यों होता है और इसे कम करने के लिए क्या किया जा सकता है। तो आइए जानते हैं कि सर्दियों में कमर दर्द क्यों होता है और कमर दर्द कैसे दूर करें।
सर्दियों में कमर दर्द के कारण
ठंडे तापमान का प्रभाव: ठंड के मौसम में मांसपेशियां और ज्वाइंट सिकुड़ने लगते हैं। इससे लचीलापन कम हो जाता है, और मांसपेशियों में दर्द और अकड़न की समस्या हो सकती है।
खून का प्रवाह कम होना: ठंड के कारण मांसपेशियों में रक्त प्रवाह धीमा हो सकता है, जिससे वे जल्दी सख्त और कमजोर हो जाती हैं।
फिजिकल एक्टिविटी में कमी: सर्दियों में बहुत से लोग फिजिकल एक्टिविटी कम कर देते हैं, जिससे मांसपेशियां कमजोर हो जाती हैं। कमजोर मांसपेशियां कमर को सही सहारा नहीं दे पातीं, जिससे दर्द की समस्या बढ़ जाती है।
खराब पोश्चर: ठंड के कारण लोग लंबे समय तक झुके रहते हैं या खराब पोश्चर में बैठते हैं। यह रीढ़ की हड्डी पर दबाव डालता है और दर्द को बढ़ा सकता है।
ठंड में कमर दर्द दूर करने के उपाय
रोज एक्सरसाइज करें: ठंड में भी शारीरिक रूप से सक्रिय रहना बेहद जरूरी है। हल्की एक्सरसाइज जैसे चलना, योग, या स्ट्रेचिंग करने से रक्त प्रवाह सुधरता है और मांसपेशियां मजबूत होती हैं। ये एक्टिविटी मांसपेशियों को लचीला रखती हैं।
शरीर को गर्म रखें: गर्म कपड़े पहनें और विशेष रूप से अपनी कमर को गर्म रखें। थर्मल कपड़े या हीटिंग पैड का उपयोग करें। यह मांसपेशियों को आराम देने और दर्द कम करने में मदद करता है।
सही पोश्चर बनाए रखें: बैठने और खड़े होने के दौरान अपनी रीढ़ को सीधा रखें। काम करते समय एर्गोनोमिक कुर्सी का उपयोग करें और लंबे समय तक झुकने से बचें।
हाइड्रेटेड रहें: ठंड के मौसम में पानी पीना कम न करें। शरीर को हाइड्रेट रखने से रीढ़ की डिस्क्स और जोड़ लचीले रहते हैं। प्रतिदिन 6-8 गिलास पानी जरुर पीएं।
स्ट्रेचिंग करें: हल्की स्ट्रेचिंग से मांसपेशियों का तनाव कम होता है। चाइल्ड पोज, कैट-काऊ स्ट्रेच और नी-टू-चेस्ट जैसे स्ट्रेचिंग एक्सरसाइज दर्द को कम करने में मदद करते हैं।
हीट थेरेपी का उपयोग करें: इसके लिए हीटिंग पैड, गर्म पानी की बोतल का इस्तेमाल करें या गर्म पानी से नहाएं। यह मांसपेशियों को आराम देने और रक्त प्रवाह बढ़ाने में मदद करता है। हीट थेरेपी दिन में 15-20 मिनट तक करें।
कोर मसल्स को मजबूत करें: प्लैंक, बर्ड-डॉग, और पेल्विक टिल्ट जैसे एक्सरसाइज करें। कोर मसल्स मजबूत होने से रीढ़ पर दबाव कम होता है और दर्द में राहत मिलती है।
मसाज थेरेपी अपनाएं: नियमित मसाज से मांसपेशियों का तनाव कम होता है और रक्त प्रवाह बेहतर होता है। फोम रोलर या मसाज बॉल का उपयोग कर खुद से मसाज करें।